धर्म संवाद / डेस्क : वैजयंती माला को बहुत ही चमत्कारी माना गया है । वैजयंती’ का शाब्दिक अर्थ है — “विजय देने वाली”। यह माला विशेष प्रकार के बीजों से बनाई जाती है, जिन्हें वैजयंती बीज कहा जाता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, यह माला भगवान विष्णु और श्रीकृष्ण की प्रिय मानी जाती है। वैजयंती माला का प्रयोग पूजा-पाठ, हवन, यज्ञ और जीवन में आ रही की समस्याओं का समाधान पाने के लिए उपाय के तौर पर इस्तेमाल की जाती है। ऐसा कहा जाता है कि देवताओं के युद्ध में भगवान विष्णु ने इस माला को धारण किया था, जिससे वे विजयी हुए।
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धार्मिक महत्व
- वैजयंती माला को पहनने वाला व्यक्ति शत्रु बाधाओं, नकारात्मक ऊर्जा, और भय से मुक्त रहता है।
- यह माला भक्ति मार्ग पर साधक की सहायता करती है और मन को एकाग्र करने में मदद करती है।
- श्रीकृष्ण के भक्तों के लिए यह विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह प्रेम, भक्ति और विजय का प्रतीक है।
- ऐसा माना जाता है कि इस माला से की गई साधना जल्दी फल देती है।
वैजयन्ती माला के लाभ
- वैजयंती माला को धारण करने से आत्मविश्वास में वृद्धि होती है।
- अभिमंत्रित वैजयंती माला धारण करने से मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है। इससे आर्थिक तंगी खत्म हो जाती है।
- वैजयंती माला धारण करने से मन शांत रहता है और सही निर्णय लेने की सही दिशा प्राप्त होती है ।
- जिन व्यक्तियों का मन लगातार परेशान रहता है, या किसी कार्य में मन नहीं लगता है वे अगर मंगलवार के दिन वैजयंती माला धारण करते हैं तो उनका मन शान्त हो जाता है।
- वैजयंती माला धारण करने से मन में नकारात्मक विचार समाप्त होते हैं।
- अगर किसी के विवाह में देरी हो रही है तो वैजयंती माला धारण करने से विवाह शीघ्र होता है।
- अगर किसी को ज्यादा क्रोध आता है तो उसे वैजयंती माला धारण करनी चाहिए। वैजयंती माला धारण करने से क्रोध शांत होगा।
- अगर किसी व्यक्ति को कार्यक्षेत्र से संबंधित कोई परेशानी चल रही है तो वैजयंती माला को धारण कर लें। ऐसे करने से आपको सभी समस्याओं से छुटकारा मिलेगा।
वैजयंती माला धारण करने की विधि
वैजयंती माला धारण करने के लिए शुक्ल पक्ष के पहले गुरुवार और लक्ष्मी जी की साधना करने के लिए शुक्रवार के दिन स्नान आदि के बाद पूजन करें और ऊं वैष्णवायै नम: की माला का जप करें। यदि आपके कोई गुरु है तो उनके मंत्र का जप करें और गुरु नहीं है तो ऊं नमो: भगवते वासुदेवाय का कम से कम 108 बार जप करें। साथ ही गरीबों को कुछ दान करें। हो सके को गरीबों में कोई मिठाई जरूर बांटें। इसके बाद वैजयंती माला धारण करें।
वैजयंती माला सिर्फ एक आध्यात्मिक आभूषण नहीं, बल्कि विजय, भक्ति और सकारात्मक ऊर्जा का शक्तिशाली साधन है। श्रद्धा और विधिपूर्वक धारण करने पर यह जीवन में बाधाओं को दूर कर सफलता और शांति का मार्ग प्रशस्त करती है।